भारत के सबसे बूढ़े शेर राम की मौत

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वन अधिकारियों ने कहा है कि राम की स्वभाविक मौत हुई
भारत के जगलों में रहने वाले सबसे बूढ़े और लोकप्रिय शेरों में एक राम की मौत हो गई.
पश्चिम गुजरात के गिर अभयारण्य के अधिकारियों ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि राम को शनिवार को मरा हुआ पाया गया. समझा जाता है कि वह 15 साल का था.
वन अधिकरियों ने उसे "ख़ूबसूरत" और "चमकदार" क़रार दिया और कहा कि "सबसे ज़्यादा तस्वीरें" जिस शेर की ली गईं, वह राम ही था.
गिर अभयारण्य में 500 शेर रहते हैं. एशियाई शेरों का यह दुनिया का अकेला वास स्थान है.
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राम का भाई श्याम. दोनों भाइयों ने मिल कर गिर जंगल पर लंबे समय तक राज किया
राम और उसके भाई श्याम की जोड़ी ने गिर के जंगलों पर लंबे समय तक राज किया.
गिर अभयारण्य के डिप्टी कंज़रवेटर राम रतन नल ने बीबीसी से कहा, "हमने राम की मौत की वजह जानने के लिए उसका पोस्टमॉर्टम कराया. उसकी स्वाभाविक मौत हुई. गांव और सरकार के अफ़सरों की मौजूदगी में राम को दफ़नाया गया."
नल ने कहा कि आस पास के सभी लोग राम को बेहद चाहते थे और उसकी मौत पर शोक मनने के लिए एक दिन का व्रत रखा है.
अभयारण्य के पूर्व डिप्टी कंज़रवेटर संदीप कुमार ने बीबीसी से कहा, "राम और श्याम ने गिर के जंगलों पर लंबे समय तक राज किया और कई बच्चों के पिता बने. एक समय तो उनके दो दर्जन से ज़्यादा बच्चे थे."
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राम और श्याम के बच्चे
कुमार ने कहा कि एक बाघ अपने इलाक़े में दूसरे बाघ को नहीं रहने देता है. पर शेर अपने ही परिवार के दूसरे नर को साथ में रहने देता है और दोनों मिल कर अपने इलाक़े की रक्षा करते हैं.
उन्होंने आगे कहा, "हर राजशाही का अंत होता ही है. राम की मौत हो चुकी है और श्याम बूढ़ा हो रहा है. उसके लिए अब अपने इलाक़े को सुरक्षित रखना मुश्किल होगा. यह मुमकिन है कि कोई युवा शेर इस इलाक़े पर क़ब्ज़ा कर ले."